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नई शिक्षा नीति लागू करने में शिक्षकोंं की अहम भूमिका-भीतर के विद्यार्थी को मरने न दें : मोदी

भोपाल : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज मध्यप्रदेश के नवनियुक्त शिक्षकों को ‘गुरुमंत्र’ देते हुए कहा कि नई शिक्षा नीति लागू करने में शिक्षकों की अहम भूमिका होने वाली है और शिक्षक कभी भी अपने भीतर के विद्यार्थी को मरने न दें क्योंकि यही उन्हें नई ऊंचाइयों पर पहुंचाएगा।श्री मोदी ने यहां आयोजित नवनियुक्त शिक्षकों के प्रशिक्षण कार्यक्रम को वर्चुअली संबोधित किया। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और स्कूल शिक्षा राज्यमंत्री इंदर सिंह परमार ने भी संबोधित किया।

प्रधानमंत्री ने कहा कि बच्चों के सर्वांगीण विकास और भारतीय मूल्योंं के संवर्धन के लिए नई शिक्षा नीति लागू की गई है। इसे प्रभावी रूप से लागू करने में शिक्षकों की भूमिका बहुत अहम है।उन्होंने नवनियुक्त शिक्षकों से कहा कि किसी भी व्यक्ति के जीवन में उसकी माता और शिक्षक की सबसे अहम भूमिका होती है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि जैसे आप लोगों के हृदय में आपके शिक्षक बसे हुए हैं, वैसे ही आप लोग भी विद्यार्थियों के हृदय में बसने का प्रयास करें। शिक्षकों की दी गई शिक्षा देश का भविष्य संवारेगी।

प्रधानमंत्री श्री मोदी ने कहा कि वे अपने भीतर के विद्यार्थी को कभी मरने नहीं देते। साथ ही उन्होंने नवनियुक्त शिक्षकों से भी यही अपेक्षा करते हुए कहा कि यही गुण उन्हें नई ऊंचाइयों पर पहुंचाएगा।

शिक्षकों को दूसरे ही साल 100 फीसदी वेतन : शिवराज

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के फैसले को पलटते हुए घोषणा की कि शिक्षकों को अब पहले साल 70 फीसदी और दूसरे साल 100 फीसदी वेतन दिया जाएगा।श्री चौहान ने नवनियुक्त शिक्षकों के प्रशिक्षण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि वे आज एक फैसला और कर रहे हैं, एक काम जो पिछली सरकार ने गलत किया था, उसको थोड़ा सुधार रहे हैं। अब पहले साल शिक्षकों को 70 फीसदी और दूसरे साल 100 फीसदी सैलरी दी जाएगी।

उन्होंने कहा कि चार हिस्सों में बांटना उन्हें न्याय नहीं लगता, तरसा- तरसा के देना ठीक नहीं लगता, इसलिए पहला साल अपनी (शिक्षकों की) परीक्षा का है तो 70 फीसदी और दूसरे साल अच्छा पढ़ाएं तो 100 फीसदी वेतन।इस प्रशिक्षण कार्यक्रम को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी वर्चुअल तरीके से संबोधित किया।(वार्ता)

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