रायपुर। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित दंतेवाड़ा जिले में चार इनामी नक्सलियों समेत 18 नक्सलियों ने सुरक्षा बलों के सामने आत्मसमर्पण कर दिया है , दंतेवाड़ा जिले के पुलिस अधिकारियों ने बुधवार को बताया कि जिले के भांसी थाना में दंतेवाड़ा कलेक्टर दीपक सोनी, पुलिस अधीक्षक अभिषेक पल्लव और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के अधिकारियों के सामने 18 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण कर दिया है। अधिकारियों ने बताया कि जिले में सुरक्षा बल पिछले दो सप्ताह से लोन वर्राटू (घर वापस आईये) अभियान चला रहा है। इस अभियान का लाभ अब मिलने लगा है। नक्सली हथियार रख समाज की मुख्य धारा में शामिल हो रहे हैं।
दंतेवाड़ा जिले पुलिस अधीक्षक अभिषेक पल्लव ने बताया कि आज आत्मसमर्पण किए नक्सली भैरगमगढ़ एरिया कमेटी के अंतर्गत कार्य कर रहे थे। वह भांसी और कामालूर थाना क्षेत्र में सक्रिय थे। उनके खिलाफ रेलवे पांत को नुकसान पहुंचाने, क्षेत्र में नक्सलियों के पक्ष में बैनर पोस्टर लगाने तथा उन्हें राशन पहुंचाने का काम करते थे। पल्लव ने बताया कि आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों में से तेलाम भीमा और मंगल भास्कर दंडकारण्य आदिवासी किसान मजदूर संगठन के अध्यक्ष हैं। वहीं तेलाम चैतु और संतु कुजाम चेतना नाट्य मंच के अध्यक्ष हैं। इन चारों नक्सलियों पर एक-एक लाख रूपए का इनाम है। उन्होंने बताया कि अन्य 14 नक्सली डीकेएमएस और सीएनएम के सदस्य हैं।
पल्लव ने बताया कि नक्सलियों ने पुलिस को बताया कि उन्होंने माओवादी संगठन की खोखली विचारधारा से तंग आकर तथा समाज की मुख्यधारा से जुड़कर राज्य के विकास में सहयोग करने की इच्छा से आत्मसमर्पण किया है। पुलिस अधिकारी ने बताया कि आत्मसमर्पण किए नक्सलियों की राज्य शासन के पुर्नवास नीति के तहत मदद की जाएगी।
पल्लव ने बताया कि जिले में 12 जून से लोन वर्राटू (घर वापस आईये) अभियान चलाया जा रहा है। इस अभियान के तहत जिले के विभिन्न गांवों के व्यक्ति जो प्रतिबंधित नक्सली संगठन में सक्रिय हैं उन्हें आत्मसमर्पण कर सम्मान पूर्वक जीवन यापन करने के लिए कहा जा रहा है। इसके लिए थानों, शिविरों और ग्राम पंचायतों में संबंधित क्षेत्र के सक्रिय माओवादियों का नाम चस्पा किया गया है। पुलिस अधिकारी ने बताया कि इस अभियान से प्रभावित होकर नक्सली पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर रहे हैं।