
मोदी ने कोविंद को रूस यूक्रेन मुद्दे पर जानकारी दी,वायुसेना को ऑपरेशन गंगा में शामिल होने का दिया निर्देश
राष्ट्रपति कोविन्द ने यूक्रेन में फंसे छात्रों की वापसी के लिए केंद्र सरकार के प्रयासों को सराहा.यूक्रेन से नौ हजार से ज्यादा भारतीय नागरिकों को निकाला गया
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को सुबह राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की और उन्हें रूस यूक्रेन संकट से उत्पन्न स्थिति सहित विभिन्न मुद्दों पर जानकारी दी।उच्च पदस्थ आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, प्रधानमंत्री ने मुलाकात के दौरान राष्ट्रपति को रूस द्वारा यूक्रेन पर किए गए हमले से उत्पन्न स्थिति की जानकारी दी। उन्होंने राष्ट्रपति को यूक्रेन में फंसे भारतीय नागरिकों विशेष रूप से छात्रों को स्वदेश लाए जाने के बारे में किए जा रहे सरकार के प्रयासों से अवगत कराया।
उल्लेखनीय है कि सरकार यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों को वापस लाने के लिए ऑपरेशन गंगा चला रही है और इसके तहत अभी तक कई हजार छात्रों को वापस लाया जा चुका है। इन प्रयासों में तेजी लाने के लिए सरकार ने सोमवार को अपने चार मंत्रियों को यूक्रेन के पड़ोसी देशों में भेजने का निर्णय लिया है। ये मंत्री इन देशों में यूक्रेन से सड़क मार्ग से पहुंचने वाले छात्रों की सुरक्षित तथा तेज वापसी के लिए व्यवस्था कराने का काम करेंगे।
राष्ट्रपति कोविन्द ने यूक्रेन में फंसे छात्रों की वापसी के लिए केंद्र सरकार के प्रयासों को सराहा
राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को फोन कर यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिये सरकार के प्रयासों की सराहना की है। राष्ट्रपति सचिवालय ने मंगलवार को ट्वीट कर बताया कि विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने सोमवार रात राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द को यूक्रेन से छात्रों सहित भारतीय नागरिकों को निकालने के लिए ‘ऑपरेशन गंगा’ की प्रगति से अवगत कराया। सचिवालय के अनुसार, बाद में राष्ट्रपति कोविन्द ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को फोन किया और सरकार के प्रयासों की सराहना की।
प्रधानमंत्री ने वायुसेना को ऑपरेशन गंगा में शामिल होने का दिया निर्देश
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को ‘ऑपरेशन गंगा’ के तहत चल रहे प्रयासों को बढ़ाने के लिए भारतीय वायु सेना को यूक्रेन में फंसे भारतीयों को निकालने में शामिल होने का आह्वान किया। सूत्रों ने कहा कि हमारी वायु सेना की क्षमताओं का लाभ उठाने से भारतीयों के लौटने की प्रक्रिया गति पकड़ेगी और कम समय में अधिक लोगों को निकाला जाना सुनिश्चित होगा। साथ ही साथ, भारत से भेजी जा रही राहत सामग्री भी और तेजी से पहुंचेगी। भारतीय वायु सेना के कई सी-17 विमान आज ऑपरेशन गंगा के तहत उड़ान शुरू कर सकते हैं।
रूस द्वारा यूक्रेन पर हमले के कारण बड़ी संख्या में वहां भारतीय छात्र फंसे हुये हैं। यूक्रेन से भारतीयों की सुरक्षित स्वदेश वापसी के लिये भारत सरकार ऑपरेशन गंगा चला रही है। प्रधानमंत्री मोदी ने ऑपरेशन गंगा के तहत चल रहे प्रयासों की समीक्षा करने के लिए सोमवार को दो उच्च स्तरीय बैठकों की अध्यक्षता की थी। छात्रों को हंगरी, पोलैंड, स्लोवाकिया और रोमानिया के रास्ते भारत लाया जा रहा है। इसके लिए इन देशों की यूक्रेन के साथ सटी सीमाओं पर विशेष भारतीय प्रतिनिधियों की तैनाती की गयी है। भारत सरकार ने अपने चार वरिष्ठ मंत्रियों को यूक्रेन के विभिन्न पड़ोसी देशों में अपने विशेष दूत के रूप में प्रतिनियुक्त किया है ताकि निकासी के प्रयासों में तेजी लाई जा सके।
यूक्रेन से नौ हजार से ज्यादा भारतीय नागरिकों को निकाला गया
भारत ने युद्धग्रस्त यूक्रेन से अब तक नौ हजार से अधिक भारतीयों को देश के बाहर निकाल लिया है जबकि पूर्वी यूक्रेन में खारकीव एवं अन्य शहरों में फंसे भारतीय नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिए यूक्रेन की सीमा के समीप रूसी शहर बेल्गोरोद में अपने राजनयिकों की एक टीम को तैनात कर दिया है।सूत्रों के अनुसार खारकीव में आज सुबह गोलीबारी में एक छात्र की मौत के बाद सरकार ने रूस एवं यूक्रेन के राजदूतों से पुन: आग्रह किया है कि वे पूर्वी यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों की सुरक्षित निकासी के लिए सहायता करें।सूत्रों ने कहा कि खारकीव में बिगड़ती स्थिति अत्यंत चिंताजनक है। भारतीय नागरिकों की सुरक्षा सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। हमने रूस एवं यूक्रेन के दूतावासों पर इस बात का दबाव डाला गया है कि कि वे खारकीव एवं युद्धग्रस्त क्षेत्र के अन्य शहरों में फंसे भारतीय नागरिकाें एवं छात्रों को सुरक्षित निकलने दिया जाये।
सूत्रों के अनुसार 24 फरवरी को युद्ध शुरू होने के बाद से रूस एवं यूक्रेन से बार बार यह मांग की है। ये मांग नयी दिल्ली में दोनों देशों के राजदूतों से और उन देशों की राजधानियों में तैनात भारतीय राजदूतों के माध्यम से वहां की सरकार से की गयी है।सूत्रों ने बताया कि भारत की ओर से छात्रों की सुरक्षित निकासी की तैयारियां पहले से ही हैं। अब एक भारतीय टीम को यूक्रेन की सीमा से लगे रूसी शहर बेल्गोरोद में तैनात किया गया है। हालांकि खारकीव एवं आसपास के शहरों में युद्ध के हालात एक बड़ी बाधा है। इसलिए रूस एवं यूक्रेन के लिए हमारी जरूरत के अनुसार सुरक्षित मार्ग देना बहुत आवश्यक है।सूत्रों के अनुसार जहां युद्ध की स्थिति नहीं है, वहां से हम अपने नागरिकों को निकाल पाये हैं। नौ हजार से अधिक लागों को यूक्रेन से बाहर निकाला जा चुका है जबकि बड़ी संख्या में लोग अब सुरक्षित इलाकों में पहुंच गये हैं। उन्होंने कहा कि सरकार अपने नागरिको को यूक्रेन से सुरक्षित निकालने के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है।