
नई दिल्ली । भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने नेशनल हेराल्ड मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की ओर से कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और राहुल गांधी को सम्मन जारी करने पर निशाना साधा है। पार्टी के प्रवक्ता गौरव भाटिया ने गुरुवार को कांग्रेस के शीर्ष परिवार पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए गुरुवार को कहा कि भारत ही नहीं बल्कि पूरे विश्व में सबसे ज्यादा भ्रष्टाचारी परिवार अगर कोई है तो वो गांधी परिवार है।
भाजपा प्रवक्ता गौरव भाटिया ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि गांधी परिवार के तीन सदस्य भ्रष्टाचार के आरोपी हैं और जमानत पर बाहर हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी भ्रष्टाचार के आरोपी हैं और जमानत पर बाहर है। सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा भी जमीन घोटाले के आरोप में जमानत पर बाहर हैं।
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उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार की स्पष्ट नीति है, भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस। इस नीति से बड़ा बदलाव भारत में आया है। चाहे केंद्रीय जांच ब्यूरो( सीबीआई) हो या प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) हो, सभी जांच एजेंसियां स्वतंत्र रूप से, निष्पक्ष रूप से अपना काम कर ही है।
क्या ये सही नहीं है कि सोनिया गांधी और राहुल गांधी पर एक फौजदारी का मुकदमा सेक्शन 420 के तहत धोखाधड़ी करने को लेकर चल रहा है? सोनिया गांधी और राहुल गांधी दिल्ली उच्च न्यायालय जाते हैं और मांग करते हैं नेशनल हेराल्ड और एजेएल और यंग इंडियन, से जुड़े मामले को निरस्त किया जाए।
गौरव भाटिया ने कहा कि क्या ये सही नहीं है कि नवबंर 2010 में जब आपकी केंद्र में सरकार थी तब इस कंपनी को निगमन किया गया, ताकि धोखाधड़ी से एजेएल कंपनी को यंग इंडियन कंपनी में ट्रांसफर कर दिया जाए। यंग इंडियन कंपनी पर मालिकाना हक 38प्रतिशत राहुल गांधी का और 38प्रतिशत सोनिया गांधी का है। यंग इंडियन कंपनी को एजीएल नामक कंपनी 90 करोड़ रुपये का कर्ज देती है। उन्होंनेसवाल किया कि ये यंग इंडियन कंपनी को निगमन कब किया गया।
भाजपा नेता ने आगे कहा कि जो यंग इंडियन कम्पनी कांग्रेस सराकर ने 2010 में इनकॉरपोरेट की, तीन महीने के अंदर अंदर निगमन से परिसंपत्ति हस्तांतरण तक वो भी 2 हजार करोड़ का, ये पूरा हो गया। उन्होंने सोनिया गांधी से जानना चाहा कि क्या ये बात सत्य नहीं है कि उनको जल्दबाजी थी कि इन 2 हजार करोड़ रुपये पर उनका मालिकाना हक हो जाए।
भाटिया ने कांग्रेस की शीर्ष नेता से सवाल किया कि उन्हें ऐसी क्या जल्दबाजी थी? सोनिया गांधी क्या ये सत्य नहीं है कि मई 2019 में ईडी ने ही 65 करोड़ रुपये की संपत्ति को जब्त किया था। उनके पास समय था औऱ वे न्यायालय भी गईं। किंतु, क्या न्यायालय ने कहा कि ईडी ने ये गलत जब्त किया है?
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि आयकर विभाग ने दिसंबर 2017 में आदेश पारित किया कि सोनिया गांधी और राहुल गांधी को कुल 414 करोड़ का मुनाफा हुआ इस घोटालेबाजी से और आदेश दिया गया कि 250 करोड़ रुपये का वे टैक्स भरें। इसके खिलाफ कांग्रेस के नेता न्यायालय भी गए लेकिन उनको कोई राहत नहीं मिली।(हि.स.)