
मुख्यमंत्री ने बढ़ाया आउटसोर्स कर्मियों का मानदेय
राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद विगत एक वर्ष से आउटसोर्स कर्मियों का मानदेय बढ़ाने की कर रहा था मांग
- परिषद के अध्यक्ष बोले, सीएम के निर्णय से करीब 5 लाख कर्मियों को होगा फायदा
- अध्यक्ष ने सीएम से आशा बहुओं को भी 18000 फिक्स मानदेय की परिधि में लाने की मांग की
लखनऊ : राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के अध्यक्ष ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा प्रदेश के आउटसोर्स कर्मियों को न्यूनतम मानदेय 18 हजार करने की घोषणा पर खुशी जाहिर की। अध्यक्ष जेएन तिवारी ने सीएम योगी की घोषणा का स्वागत करते हुए 1 अपैल से आउटसोर्स कर्मियों को बढ़ा मानदेय मिलने पर सीएम आभार व्यक्त किया। उन्होंने इस फैसले से आउटसोर्स कर्मियों के चेहरे खिल उठे हैं। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद द्वारा आउटसोर्स कर्मियों का मानदेय निश्चित करने के लिए विगत 1 वर्ष से लगातार प्रयास किया जा रहा था।
दो बार मुख्यमंत्री से राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के सदस्यों ने की थी मुलाकात
राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के अध्यक्ष जेएन तिवारी ने बताया कि इस संबंध में मुख्यमंत्री से दो बार मुलाकात की गयी थी। सीएम के इस फैसले से प्रदेश में लगभग 5 लाख आउटसोर्स कर्मियाें को फायदा होगा। सभी को इसका लाभ मिलेगा। संयुक्त परिषद ने आउटसोर्स कर्मियों के लिए नियमावली बनाने की भी मांग की है। इससे चयन प्रक्रिया में पारदर्शिता आएगी।
बता दें कि मुख्यमंत्री ने 20 फरवरी को आउटसोर्स कर्मियों का मानदेय 16 से 18000 करने की घोषणा पत्रकारों के बीच की थी। संयुक्त परिषद के अध्यक्ष ने सीएम से प्रदेश की आशा बहुओं को भी 18000 फिक्स मानदेय की परिधि में लाने की मांग की है। सीएम योगी के इस निर्णय का राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के कार्यवाहक अध्यक्ष निरंजन कुमार श्रीवास्तव, वरिष्ठ उपाध्यक्ष नारायण दुबे, महामंत्री अरुणा शुक्ला, उपाध्यक्ष त्रिलोकी नाथ चौरसिया, प्रीति पांडे, ओमप्रकाश पांडे, राजेश निराला सहित दर्जनों पदाधिकारियों ने स्वागत किया।
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