कोलकाता । पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस की तीसरी बार प्रचंड बहुमत से सत्ता में वापसी के बाद एक बार फिर नारदा घोटाले का मामला सुर्खियों में आ गया है। नारदा घोटाले को लेकर सोमवार को सीबीआई की टीम ने बंगाल सरकार के दो मंत्रियों समेत चार टीएमसी नेताओं के घर छापेमारी की, जिसके बाद चारों नेताओं को अपने साथ पूछताछ के लिए ले गई। सीबीआई की इस कार्रवाई का विरोध करते हुए टीएसमी ने सवाल पूछा कि सिर्फ टीएमसी के नेताओं पर ही कार्रवाई क्यों हो रही है। भाजपा में शामिल हुए मुकुल रॉय या सुवेंदु अधिकारी पर एक्शन क्यों नहीं लिया गया।
तृणमूल कांग्रेस की नेता डोला सेन ने इसे बदले की कार्रवाई करार दिया। डोला सेन ने कहा कि सीबीआई ने बिना स्पीकर की परमिशन के विधायक और मंत्रियों को गिरफ्तार किया है, कोई भी कानून नहीं मान रहा है। प्रधानमंत्री और गृह मंत्री की बंगाल में हार हुई है, इसलिए अब ये बंगाल में बदले की कार्रवाई कर रहे हैं।
सुवेंदु अधिकारी, मुकुल रॉय पर कार्रवाई क्यों नहीं?
नारदा स्टिंग का मामला साल 2016 का है, इस मामले में तब टीएमसी के कई नेताओं का नाम सामने आया था। इनमें से कुछ नेता ऐसे भी हैं, जो अब टीएमसी को छोड़ कर भाजपा में शामिल हो गए हैं। इस वजह से सीबीआई की कार्रवाई को लेकर तृणमूल कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि चुनाव में हार के बाद भाजपा बदला ले रही है। टीएमसी ने पूछा कि भाजपा के नेताओं सुवेंदु अधिकारी, मुकुल रॉय पर एक्शन क्यों नहीं लिया जा रहा है?
हमारी नहीं कोर्ट की मर्जी से हुई कार्रवाई : बाबुल सुप्रियो
तृणमूल कांग्रेस के आरोपों पर पटलवार करते हुए भाजपा नेता बाबुल सुप्रियो ने जवाब भी दिया। उन्होंने कहा कि सीबीआई जो भी कार्रवाई कर रही है, उसके लिए अदालत ने आदेश दिया है। उन्होंने कहा कि हमारी मर्जी से नेताओं की गिरफ्तारी नहीं हो रही है। सुवेंदु अधिकारी और मुकुल रॉय को लेकर सुप्रियो ने कहा कि जो भी हो रहा है, अदालत के कहने पर हो रहा है। अगर अदालत चाहे तो किसी से भी पूछताछ हो सकती है।