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रेवेन्यू सरप्लस स्टेट बन चुका है यूपी, अपनी आवश्यकताओं की पूर्ति हम खुद करने में सक्षम हुए : मुख्यमंत्री

फाईल फोटो

लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि उत्तर प्रदेश आज रेवेन्यू सरप्लस स्टेट बन चुका है और अपनी ज्यादातर आवश्यकताओं की पूर्ति खुद करने में सक्षम हो चुका है। सीएम योगी गुरुवार को विधानसभा के मानसून सत्र के दौरान अनुपूरक बजट को लेकर सदन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 5 ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी के संकल्प को पूरा करने और प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी बनाने के लक्ष्य को ध्यान में रखते हुए 12 हजार 209 करोड़, 93 लाख रुपए का अनुपूरक बजट लाया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि बीते फरवरी माह में वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए पारित मूल बजट की 44 फीसदी धनराशि जारी हो चुकी है और 20 फीसदी खर्च भी हुए हैं।

70 हजार करोड़ रुपए का डीबीटी के जरिए हुआ हस्तांतरण

मुख्यमंत्री ने बताया कि इसके बाद अब वित्तीय वर्ष 2024-25 के मूल बजट का आकार साढ़े सात लाख करोड़ रुपए का हो चुका है। यह 2015-16 के बजट के आकार से दोगुना है। उन्होंने कहा कि यूपी की बढ़ती आवश्यकताओं के अनुरूप प्रदेश के बजट का दायरा बढ़ाया गया है। सीएम योगी ने इस बात की भी जानकारी दी कि 11 विभागों के माध्यम से 196 योजनाओं के लिए 70 हजार करोड़ रुपए का डीबीटी के जरिए हुआ हस्तांतरण है, जो गरीब जनता के खातों में सीधे ट्रांसफर हुआ है। डीबीटी कैसे एक गरीब को भ्रष्टाचार मुक्त व्यवस्था देने में सहायक होती है, यह उसका बड़ा उदाहरण है।

मनुष्य को चाहिए कि वह परिस्थितियों से लड़े, एक स्वप्न टूटे, तो दूसरा गढ़े…

मुख्यमंत्री ने अपने उद्बोधन के शुरुआत में सदन के साथ ही नेता प्रतिपक्ष को विशेष रूप से धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि वयोवृद्ध नेता प्रतिपक्ष ने कई महत्वपूर्ण सुझाव दिये हैं। हमने हमेशा अपने से बुजुर्गों को सम्मान दिया है। हमारे यहां मान्यता है कि वो सभा सभा नहीं होती, जहां बुजुर्ग का सम्मान नहीं होता। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें विरासत में जैसा यूपी मिला था और आज जैसा यूपी आज है, वो सबके सामने है। हमने अटल जी की पंक्तियों से प्रेरणा प्राप्त की है, कि ”मनुष्य को चाहिए कि वह परिस्थितियों से लड़े, एक स्वप्न टूटे, तो दूसरा गढ़े…”

2024-25 का मूल बजट 7 लाख 36 हजार 437 करोड़ 71 लाख रुपए का था

सीएम ने कहा कि फरवरी में मूल बजट पारित करके अप्रैल में वित्तीय वर्ष शुरू होते ही हमने उसका उपयोग करना शुरू कर दिया। 2024-25 का मूल बजट 7 लाख 36 हजार 437 करोड़ 71 लाख रुपए का था। हालांकि वित्तीय वर्ष शुरू होते ही आम चुनाव का वक्त आ गया, इसके बावजूद विभिन्न विभागों के लिए बजट का औसतन 44 फीसदी धनराशि रिलीज हुई है और 20 फीसदी से अधिक खर्च भी हुआ है। हमने बिना भेदभाव के समाज के सभी वर्गों के लिए सरकार की कार्ययोजना को आगे बढ़ाया है।

कैपिटल एक्सपेंडिचर दर्शाता है कि बजट का पैसा बड़े निर्माण में लग रहा

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारा कैपिटल एक्सपेंडिचर इस बात को दर्शाता है कि बजट का पैसा बड़े निर्माण में लग रहा है। ये अनुपूरक बजट यूपी में निवेश बढ़ाने वाला है। आज उत्तर प्रदेश की जीडीपी और प्रति व्यक्ति आय दोगुने से ज्यादा बढ़ी है। यूपी एक सही दिशा में बढ़ रहा है, जो नए मद बनाए गये हैं उसके लिए इस नये अनुपूरक बजट की आवश्यकता पड़ी, इसलिए 12 हजार 209 करोड़, 93 लाख का अनुपूरक बजट मानसून सत्र में लाना पड़ा है। इसके बाद हमारा इस वत्तीय वर्ष में साढ़े सात लाख करोड़ रुपए का बजट हो गया है।

हम अब अगले तीन और पांच साल का रोडमैप बनाकर कार्य कर रहे

मुख्यमंत्री ने कहा कि यूपी देश की अग्रणी अर्थव्यवस्था बनने का माद्दा रखता है। जब हम सत्ता में आए थे तो हमारी अर्थव्यवस्था देश में छठे-सातवें नंबर पर थी। प्रदेश के सामने पहचान का संकट था, मगर आज ये परसेप्शन बदल चुका है। यूपी ने अपनी इकोनॉमी को देश की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बना लिया है। हम अब अगले तीन और पांच साल का रोडमैप बनाकर कार्य कर रहे हैं। शिक्षा, स्वास्थ्य और कौशल विकास में बड़े काम हुए हैं। इसी का परिणाम है कि प्रदेश में रोजगार के नये अवसर सृजित हुए हैं। सीएम योगी ने तमिलनाडु के त्रिशूर का उदाहरण दिया, जहां यूपी के दो लाख लोग काम करते थे। उन्होंने बताया कि वहां से बड़ी संख्या में लोग अपने प्रदेश में वापस आ गये हैं, क्योंकि अब उन्हे अपने प्रदेश में रोजगार मिल रहा है।

यूपी नेशनल जीडीपी में अपने शेयर को बढ़ाने में सफल हुआ

मुख्यमंत्री ने कहा कि यूपी नेशनल जीडीपी में अपने शेयर को बढ़ाने में सफल हुआ है। पहले हम 6-7 फीसदी की हिस्सेदारी रखते थे, जबकि आज ये शेयर 9 से 10 फीसदी तक पहुंच गया है। यूपी देश के उन राज्यों में है, जिन्होंने प्रभावी रिसोर्स मोबलाइजेशन के माध्यम से अपने को रेवेन्यू सरप्लस स्टेट के रूप में स्थापित किया है। हमारी ज्यादातर आवश्यकताओं की पूर्ति राज्य के अंदर करने में हम सक्षम हुए है।

हमने टेक्स चोरी को रोकने के लिए कड़े प्राविधान किये

सीएम योगी ने कहा कि हमने टेक्स चोरी को रोकने के लिए कड़े प्राविधान करने पड़े। 2017 में यूपी का सीडी रेशियो 44 फीसदी था आज ये 60 फीसदी है। ये दिखाता है कि रोजगार के अवसर बढ़े हैं। रिजर्व बैंक ने एक व्यवस्था बनाई है कि आप वित्तीय अनुशासन को ध्यान में रखते हुए ही अपना बजट बनाएंगे और कर्ज लेंगे। अगर ये सीमा के ऊपर ये जाता है तो कोई नेशनल बैंक आपको कर्ज के लिए अलाऊ नहीं करेगा। यूपी ने इस दिशा में बेहतरीन प्रयास किया है। राजकोषीय जवाबदेही एवं बजट प्रबंधन (एफआरबीएम) की अधिकतम सीमा 3.5 है, जबकि यूपी 2.86 पर अपने वित्तीय अनुशासन को बनाए रखने में सफल रहा है। यह एक बेहतरीन स्थिति है, जिसे हमने किया है।

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