पीएम मोदी ने देश के विभाजन के दौरान जान गंवाने वालों को किया याद
नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को देश के विभाजन के दौरान अपनी जान गंवाने वालों पीड़ितों का स्मरण किया और उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।आज देश ‘विभाजन विभिषिका स्मृति दिवस मना रहा है। इस मौके पर प्रधानमंत्री ने उन लोगों के संघर्षों को याद किया , जिन्हें विभाजन के दौरान अपनी जान गंवाने के साथ ही अपना घरों को छोड़ने की त्रासदी से गुजरना पड़ा था।
श्री मोदी ने अपने ट्वीट में कहा , “विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस उन भारतवासियों को श्रद्धापूर्वक स्मरण करने का अवसर है, जिनका जीवन देश के बंटवारे की बलि चढ़ गया। इसके साथ ही यह दिन उन लोगों के कष्ट और संघर्ष की भी याद दिलाता है, जिन्हें विस्थापन का दंश झेलने को मजबूर होना पड़ा। ऐसे सभी लोगों को मेरा शत-शत नमन।”पंद्रह अगस्त-1947 को देश को आजादी मिलने के साथ बंटवारे का ऐसा दर्द भी मिला , जिसने देश की आत्मा को लहुलूहान कर दिया था। यह दुनिया की सबसे बड़ी मानव त्रासदियों में से एक है ।
लाखों परिवारों का जीवन अंधेरे में डूब गया। उन्हें जीवन की ऐसी यात्रा तय करनी पड़ी, जिसकी कोई मंजिल नहीं थी। इन परिवारों ने भी स्वतंत्रता का मूल्य चुकाया। उनकी त्रासदी के स्मरण तथा वर्तमान एवं भावी पीढ़ी उनके बलिदानों से परिचित हो सके तथा स्वतंत्रता में उनकी आहुति की कीमत को समझ सके , इसी उद्देश्य से प्रधानमंत्री ने प्रत्येक वर्ष 14 अगस्त को विभाजन विभीषिका स्मृति के रूप में मनाने का आह्वान किया है ।
मोदी ने ‘जिज्ञासा’ क्विज के विजेताओं को बधाई दी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 17 भाषाओं में 10 लाख से अधिक बार खेले गये दुनिया के सबसे बड़े क्विज़ में से एक ‘जिज्ञासा’ के विजेताओं को बधाई दी है।श्री मोदी ने सोमवार को केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी के ट्वीट को साझा करते हुए अपने ट्वीट में कहा , “ ‘जिज्ञासा’ के सभी विजेताओं को बधाई। यह एक व्यापक प्रयास था जिसका उद्देश्य युवाओं के बीच हमारे इतिहास और संस्कृति के बारे में ज्ञान बढ़ाना है। इस क्विज़ के लिए ऐसी अभूतपूर्व प्रतिक्रिया देखकर खुशी हुई।”‘जिज्ञासा’ भारत की प्राचीन सभ्यता के मूल्यों, सांस्कृतिक विकास, समृद्ध अतीत और लोकाचार के गौरवशाली समागम के बारे में 17 भाषाओं में 10 लाख से अधिक बार खेली गयी दुनिया की सबसे बड़ी क्विज़ में से एक है। (वार्ता)