लोहता। धन्नीपुर गांव निवासी 20 वर्षीय अशरफ अली की हत्या किसी और नहीं बल्कि उसके दोस्त अशफाक उर्फ पनारू ने महज सात सौ रूपये के लिए की थी। रविवार को मामले का पर्दाफाश ग्रामीण पुलिस ने किया और आरोपी को जेल भेजा। लोहता थाना अंतर्गत धन्नीपुर गांव निवासी अशरफ अली का शव 21 मार्च को विशुनपुर गांव स्थित गन्ने के खेत में मिला था। अशरफ घर से 17 मार्च को गायब हुआ। 21 मार्च को गन्ने के खेत में उसका शव मिला। मामले का पर्दाफाश के लिए एसपी ग्रामीण अमित वर्मा ने क्राइम ब्रांच प्रभारी अश्वनी चतुर्वेदी और लोहता थानाध्यक्ष राजेश सिंह की संयुक्त टीम गठित की थी।
क्राइम ब्रांच और लोहता थाने की पुलिस ने तफ्तीश शुरू की तो सामने आया कि अशरफ को आखिरी बार 17 मार्च को उसके दोस्त अशफाक उर्फ पनारू के साथ देखा गया था। सर्विलांस की मदद से साक्ष्य जुटाकर अशफाक से पूछताछ शुरू की गई तो वारदात की गुत्थी परत दर परत सुलझती चली गई।कड़ाई से पूछताछ में अशफाक ने घटना की सारी बात उगल दी। उसने पुलिस को बताया कि होलिका वाले दिन 17 मार्च को वह अपने घर पर था। उसी दिन अशरफ अली उसके पास आया और शराब लेने के लिए साइकिल से भट्ठी गांव ले गया।
सरकारी ठेके से शराब लेकर दोनों ने पी। इसके बाद दोनों विशुनपुर गांव स्थित गन्ने के खेत मे शराब पीने पहुंचे। अशरफ ज्यादा शराब पीने के कारण नशे में होश खो बैठा और खेत मे लेट गया। अशरफ के मोबाइल और 700 रुपए के लिए गमछे से उसका गला कस कर उसे मार डाला था।गिरफ्तार करने वाली टीम में क्राइम ब्रांच प्रभारी अश्वनी चतुवेर्दी व उनकी टीम के दरोगा मनीष मिश्रा, गुफरान खान, रजनीश त्रिपाठी, विजय शंकर, संतोष पासवान, चंद्रसेन सिंह, कुलदीप सिंह और थानाध्यक्ष लोहता राजेश सिंह शामिल रहे।